Uttarakhand: बच्चों की सुरक्षा के लिए राज्यभर में संदिग्ध कफ सिरप पर सख्त कार्रवाई, एफडीए का अभियान जारी

प्रदेश में बच्चों की सुरक्षा और जनस्वास्थ्य को सर्वोच्च प्राथमिकता देते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने खाद्य संरक्षा एवं औषधि प्रशासन (एफडीए) को सख्त निर्देश दिए है। उन्होंने  उत्तराखण्ड में प्रतिबंधित और संदिग्ध कफ सिरप की बिक्री एवं वितरण के खिलाफ राज्यव्यापी सघन अभियान चलाने के आदेश दिए है।

आयुक्त डॉ. आर. राजेश कुमार के आदेशानुसार पूरे प्रदेश में एफडीए की टीमों ने लगातार छापेमारी अभियान शुरू कर दिया है। अधिकारी मेडिकल स्टोर्स, थोक विक्रेताओं और अस्पतालों की औषधि दुकानों से कफ सिरप के सैंपल एकत्र कर परीक्षण हेतु लैब भेज रहे है।

संदिग्ध सिरप पर निगरानी

एफडीए मुख्यालय में आज अपर आयुक्त एवं ड्रग कंट्रोलर ताजवर सिंह जग्गी ने प्रेस वार्ता कर प्रदेश में चल रही कार्यवाही की विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने बताया कि राजस्थान और मध्य प्रदेश में संदिग्ध कफ सिरप के सेवन से बच्चों के बीमार होने और मृत्यु की घटनाओं के बाद उत्तराखण्ड सरकार ने यह कदम एहतियातन और जनहित में उठाया है। उन्होंने कहा कि यह अभियान पूरी संवेदनशीलता और सतर्कता के साथ चलाया जा रहा है, ताकि किसी भी स्थिति में बच्चों के स्वास्थ्य पर खतरा न उत्पन्न हो।

सैंपलिंग और लैब जांच के निर्देश

प्रदेश के सभी जनपदों में औषधि नियंत्रण अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए गए हैं कि वे मेडिकल स्टोर्स, थोक विक्रेताओं और अस्पतालों से कफ सिरप के सैंपल एकत्र कर परीक्षण हेतु अधिकृत प्रयोगशालाओं को भेजें।
साथ ही निर्माण कंपनियों से भी कच्चे माल (पॉलीइथिलीन ग्लाइकॉल, सोर्बिटोल आदि) के सैंपल लिए जा रहे हैं, ताकि उत्पादन स्तर पर गुणवत्ता सुनिश्चित की जा सके। अब तक प्रदेशभर से 63 औषधियों के सैंपल एकत्र किए जा चुके हैं, जिनकी जांच प्रक्रिया जारी है। रिपोर्ट प्राप्त होने के बाद दोषी पाए जाने पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

बच्चों को कफ सिरप न देने की अपील

ड्रग कंट्रोलर ने आम जनता से अपील की है कि बिना चिकित्सक की सलाह के बच्चों को कोई भी कफ सिरप या दवा न दें। उन्होंने कहा, पुरानी या खुली दवाइयाँ अपनी प्रभावशीलता खो देती हैं और बच्चों के लिए हानिकारक हो सकती है।
उन्होंने सभी से आग्रह किया कि दवाइयाँ केवल चिकित्सक की सलाह पर ही उपयोग करें और हर दवा की एक्सपायरी डेट अवश्य जांचें।

दवाओं के साथ खाद्य पदार्थों में मिलावट पर भी सख्ती

अपर आयुक्त ने बताया कि राज्य में दवाओं के साथ ही खाद्य पदार्थों में मिलावट के खिलाफ भी अभियान तेज किया गया है। दीपावली पर्व को देखते हुए विशेष अभियान चलाया जा रहा है, जिसके तहत राज्य की सीमाओं पर निगरानी बढ़ाई गई है और मिठाइयों व खाद्य पदार्थों के सैंपल लेकर जांच की जा रही है। उन्होंने कहा कि त्योहारों के दौरान मिलावटखोरी पर अंकुश लगाना हमारी प्राथमिकता है।

अपर आयुक्त ने यह भी बताया कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी और आयुक्त डॉ. आर. राजेश कुमार स्वयं अभियान की लगातार मॉनिटरिंग कर रहे हैं ताकि प्रदेश में जनस्वास्थ्य की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके।

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