उत्तराखंड सरकार ने बच्चों की सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देते हुए अवैध, असुरक्षित और निम्न गुणवत्ता वाली कफ सिरप दवाओं के खिलाफ पूरे राज्य में सघन कार्रवाई शुरू कर दी है।
खाद्य संरक्षा एवं औषधि प्रशासन की टीमें प्रदेश के सभी जिलों में सक्रिय होकर औचक निरीक्षण कर रही हैं।
मुख्यमंत्री के निर्देश पर शुरू यह अभियान अब तक का सबसे व्यापक राज्यव्यापी ड्रग चेकिंग ऑपरेशन बन गया है। स्वास्थ्य सचिव व आयुक्त डॉ. आर. राजेश कुमार तथा अपर आयुक्त व ड्रग कंट्रोलर श्री ताजबर सिंह जग्गी के निर्देशन में प्रदेशभर के दवा विक्रेताओं, थोक आपूर्तिकर्ताओं और अस्पतालों के मेडिकल स्टोर्स की गहन जांच चल रही है।
यहां की बड़े पैमाने पर छापेमारी
एफडीए की टीम ने आज देहरादून शहर के चकराता रोड, किशननगर चौक, कांवली रोड, बल्लूपुर चौक और प्रेमनगर क्षेत्रों में औचक निरीक्षण किया। औषधि निरीक्षक मानेंद्र सिंह राणा के नेतृत्व में हुई इस कार्रवाई में बच्चों को दी जाने वाली खांसी और जुकाम की दवाओं की बिक्री पर तत्काल रोक लगाई गई।
निरीक्षण के दौरान टीम ने 11 कफ सिरप ब्रांडों की जांच की। इसमें कोल्ड्रिफ, रेस्पिफ्रेश-टीआर और रीलाइफजैसी संदिग्ध दवाएं किसी भी मेडिकल स्टोर पर नहीं मिलीं।
उधमसिंह नगर और हरिद्वार में भी जांच
ऊधमसिंह नगर में वरिष्ठ औषधि निरीक्षक नीरज कुमार और निधि शर्मा की टीम ने 10 पेडियाट्रिक कफ सिरप नमूने जांच हेतु लिए। इन दवाओं में डेक्सट्रोमेथोर्फन हाइड्रोब्रोमाइड, क्लोरफेनिरामाइन मैलिएट और फिनाइलेफ्राइन हाइड्रोक्लोराइड जैसे तत्व पाए गए हैं।
अब तक जिले से कुल 40 सिरप नमूने प्रयोगशाला में भेजे जा चुके हैं।
हरिद्वार जिले में एफडीए ने रुड़की के एयरन हॉस्पिटल, विनय विशाल हॉस्पिटल और हरिद्वार के मेट्रो हॉस्पिटल से 15 सिरप नमूने परीक्षण हेतु लिए हैं। औषधि निरीक्षक अनीता भारती के नेतृत्व में यह कार्रवाई की गई। जिले से अब तक कुल 39 नमूने जांच के लिए भेजे जा चुके हैं।
अन्य जिलों में भी कार्रवाई
- हल्द्वानी (नैनीताल): सोबन सिंह जीना बेस हॉस्पिटल से 3 कफ सिरप नमूने लिए गए।
- कोटद्वार (पौड़ी): कई मेडिकल स्टोर्स से रेस्पिफ्रेश टीआर सिरप का स्टॉक जब्त किया गया।
- अल्मोड़ा: चौखुटिया और चांदीखेत में छापेमारी के दौरान 12 बोतल रेस्पिफ्रेश टीआर (बैच संख्या R01GL2523) जब्त की गईं।
- रुद्रप्रयाग: तिलवाड़ा क्षेत्र से 4 सिरप नमूने जांच हेतु लिए गए।
- उत्तरकाशी: औषधि निरीक्षक मोहम्मद ताजिम की टीम ने चार कफ सिरप नमूने संकलित किए।
एफडीए की चेतावनी और अपील
एफडीए ने प्रदेशवासियों को आगाह किया है कि निम्नलिखित सिरप किसी भी हालत में न खरीदें और न बेचें —
- डेक्सट्रोमेथोर्फन हाइड्रोब्रोमाइड सिरप (केएल-25/148)
- कोल्ड्रिफ (एसआर-13)
- रेस्पिफ्रेश टीआर (R01GL2523)
- रीलाइफ (एलएसएल25160)
साथ ही सलाह दी गई है कि 5 वर्ष से कम उम्र के बच्चों को कफ सिरप बिल्कुल न दिया जाए और वयस्कों को भी केवल डॉक्टर की सलाह पर ही दवा दी जाए।
एफडीए ने कहा है कि यदि किसी मेडिकल स्टोर या वितरक के पास ये प्रतिबंधित सिरप पाए जाएँ, तो तुरंत स्थानीय औषधि निरीक्षक या एफडीए कार्यालय को सूचित करें। दोषी पाए जाने वाले प्रतिष्ठानों पर लाइसेंस निरस्तीकरण, भारी जुर्माना और कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
ड्रग कंट्रोलर ताजबर सिंह जग्गी ने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देशानुसार बच्चों की सुरक्षा के लिए यह अभियान प्राथमिकता पर है। किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। जांच रिपोर्ट आने के बाद दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।