प्रदेशभर में मुख्यमंत्री के निर्देश पर पुलिस और प्रशासन की ओर से ऑपरेशन कालनेमि चलाया गया। अभियान के तहत उन असामाजिक तत्वों पर सख्त कार्रवाई की, जो अपनी वास्तविक पहचान छिपाकर सनातन संस्कृति की आड़ में ठगी और धार्मिक भावनाओं से खिलवाड़ कर रहे थे।
पुलिस और प्रशासन ने अब तक पूरे प्रदेश में 4,000 से अधिक लोगों का सत्यापन किया है, जिनमें से 300 से अधिक लोगों की गिरफ्तारी की गई है। सरकार की इस कार्रवाई ने साफ कर दिया है कि देवभूमि की आध्यात्मिक और सांस्कृतिक पहचान के साथ किसी भी प्रकार का समझौता स्वीकार्य नहीं होगा।
इस अभियान का असर विशेष रूप से उन जिलों में देखा जा रहा है, जहां बाहरी तत्वों की सक्रियता की जानकारी मिली थी। हरिद्वार जिले में 2,301 लोगों का सत्यापन और 162 गिरफ्तारियां, देहरादून में 865 सत्यापन और 113 गिरफ्तारियां, वहीं उधम सिंह नगर में 167 सत्यापन और 17 गिरफ्तारियां की गई हैं। इसके अलावा राज्य के अन्य जिलों में भी अभियान तेज गति से जारी है।
देहरादून में इस अभियान के दौरान एक बांग्लादेशी नागरिक को भी गिरफ्तार किया गया है, जो अपनी पहचान छिपाकर प्रदेश में रह रहा था। मुख्यमंत्री की इस सख्त कार्यवाही ने यह स्पष्ट कर दिया है कि उत्तराखण्ड में किसी भी प्रकार की अवैध गतिविधि, पहचान छिपाकर ठगी या धार्मिक भावनाओं से खिलवाड़ करने वालों को किसी भी हाल में बख्शा नहीं जाएगा।